उन्होंने अपने इस पत्र की शुरुआत करते हुए लिखा था। जिसमें उन्होंने लिखा था ‘आपकी मृत्यु पर बधाई मैंने पहले कभी ये नहीं कहा। मीना, आज आपकी बड़ी बहन आपको आपकी मृत्यु पर बधाई देती है और आपसे इस दुनिया में फिर कभी कदम न रखने के लिए कहती है। ये जगह आप जैसे लोगों के लिए नहीं है’।
उन्होंने दोनों के रिश्ते को याद करते हुए लिखा कि ‘शूटिंग के दौरान, मेरे पति सुनील दत्त ने मुझे बच्चों के साथ सेट पर आमंत्रित किया था। वहां मैं और मीना बहुत अच्छे दोस्त बन गए। एक बार जब मैं दत्त साहब के साथ डिनर पर गई, तो मीना ने अपनी इच्छा से संजय और नम्रता की देखभाल की थी, साथ ही उनके कपड़े बदलकर उनके लिए दूध भी बनाया था।

नरगिस ने बताया था, ‘इस रात की बात है जब मीना कुमारी के कमरे से लड़ाई- झगड़े की आवाजें आ रही थीं। अगले दिन हमें पता चला कि उनकी तबीयत ठीक नहीं है और वो काम पर नहीं आएंगी। सुनील के जाने के बाद मैं मीना के कमरे में गई। बहुत ज्यादा रोने की वजह से उसकी आंखें सूजी हुई थीं। मैंने कमल अमरोही (मीना कुमारी के पति) के सेक्रेटरी बकार से बात की और पूछा कि तुम लोग मीना को क्यों मारना चाहते हो? उसने तुम्हारे लिए बहुत काम किया है और वो कम तक तु्म्हें खिलाएगी? इसपर बकार ने कहा- जब सही समय आएगा, हम उसे आराम देंगे।’
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